पवित्र बाइबिल

भगवान का अनुग्रह उपहार
1 इतिहास

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1 इतिहास अध्याय 11

1. तब सब इस्राएली दाऊद के पास हेब्रोन में इकट्ठे होकर कहने लगे, सुन, हम लोग और तू एक ही हड्डी और मांस हैं। 2. अगले दिनों में जब शाऊल राजा था, तब भी इस्राएलियों का अगुआ तू ही था, और तेरे परमेश्वर यहोवा ने तुझ से कहा, कि मेरी प्रजा इस्राएल का चरवाहा, और मेरी प्रजा इस्राएल का प्रधान, तू ही होगा। 3. इसलिये सब इस्राएली पुरनिये हेब्रोन में राजा के पास अए, और दाऊद ने उनके साथ हेब्रोन में यहोवा के साम्हने वाचा बान्धी; और उन्हों ने यहोवा के वचन के अनुसार, जो उस ने शमूएल से कहा था, इस्राएल का राजा होने के लिये दाऊद का अभिषेक किया। 4. तब सब इस्राएलियों समेत दाऊद यरूशलेम गया, जो यबूस भी कहलाता था, और वहां यबूसी नाम उस देश के निवासी रहते थे। 5. तब यबूस के निवासियों ने दाऊद से कहा, तू यहां आने नहीं पाएगा। तौभी दाऊद ने सिरयोन नाम गढ़ को ले लिया, वही दाऊदपुर भी कहलाता है। 6. और दाऊद ने कहा, जो कोई यबूसियों को सब से पहिले मारेगा, वह मुख्य सेनापति होगा, तब सरूयाह का पुत्रा योआब सब से पहिले चढ़ गया, और सेनापति बन गया। 7. और दाऊद उस गढ़ में रहने लगा, इसलिये उसका नाम दाऊदपुर पड़ा। 8. और उस ने नगर के चारों ओर, अर्थात् मिल्लो से लेकर चारों ओर शहरपनाश् बनवाई, और योआब ने शेष नगर के खष्डहरों को फिर बसाया। 9. और दाऊद की प्रतिष्ठा अधिक बढ़ती गई और सेनाओं का यहोवा उसके संग था। 10. यहोवा ने इस्राएल के विष्य जो वचन कहा था, उसके अनुसार दाऊद के जिन शूरवीरों ने सब इस्राएलियों समेत उसके राज्य में उसके पक्ष में होकर, उसे राजा बनाने को ज़ोर दिया, उन में से मुख्य पुरूष ये हैं। 11. दाऊद के शूरवीरों की नामावली यह है, अर्थात् किसी हक्मोनी का पुत्रा याशोबाम जो तीसों में मुखय थ, उस ने तीन सै पुरूषों पर भाला चला कर, उन्हें एक ही समय में मार डाला। 12. उसके बाद अहोही दोदो का पुत्रा एलीआज़र जो तीनों महान वीरों में से एक था। 13. वह पसदम्मीम में जहां जव का एक खेत था, दाऊद के संग रहा जब पलिश्ती वहां युठ्ठ करने को इट्ठे हुए थे, और लोग पलिश्तियों के साम्हने से भाग गए। 14. तब उन्हों ने उस खेत के बीच में खड़े होकर उसकी रक्षा की, और पलिश्तियों को मारा, और यहोवा ने उनका बड़ा उठ्ठार किया। 15. और तीसों मुख्य पुरूषों में से तीन दाऊद के पास चट्टान को, अर्थात् अदुल्लाम नाम गुफा में गए, और पलिश्तियों की छावन रपाईम नाम तराई में पड़ी इई थी। 16. उस समय दाऊद गढ़ में था, और उस समय पलिश्तियों की एक चौकी बेतलेहेम में थी। 17. तब दाऊद ने बड़ी अभिलाषा के साथ कहा, कौन मुझे बेतलेहेम के फाटक के पास के कुएं का पानी पिलाएगा। 18. तब वे तीनों जन पलिश्तियों की छावनी में टूट पड़े और बेतलेहेम के फाटक के कुएं से पानी भरकर दाऊद के पास ले आए; परन्तु दाऊद ने पीने से इनकार किया और यहोवा के साम्हने अर्ध करके उण्डेला। 19. और उस ने कहा, मेरा परमेश्वर मुझ से ऐसा करना दूर रखे; क्या मैं इन मनुष्यों का लोहू पीऊं जिन्हों ने अपने प्राणों पर खेला है? ये तो अपने प्राण पर खेलकर उसे ले आए हैं। इसलिये उस ने वह पानी पीने से इनकार किया। इन तीन वीरों ने ये ही काम किए। 20. और अबीशै जो योआब का भाई था, वह तीनों में मुख्य था। और उस ने अपना भाला चलाकर तीन सौ को मार डाला और तीनों में नामी हो गया। 21. दूसरी श्रेणी के तीनों में वह अधिक प्रतिष्ठित था, और उनका प्रधान हो गया, परन्तु मुख्य तीनों का पद को न पहुंचा। 22. यहोयादा का पुत्रा बनायाह था, जो कबजेल के एक वीर का पुत्रा था, जिस ने बड़े बड़े काम किए थे, उस ने सिंह समान दो मोआबियों को मार डाला, और हिमऋतु में उस ने एक गड़हे में उतर के एक सिंह को मार डाला। 23. फिर उस ने एक डीलवाले अर्थात् पांच हाथ लम्बे मिस्री पुरूष को मार डाला, वह मिस्री हाथ में जुलाहों का ढेका का एक भाला लिए हुए था, परन्तु बनायाह एक लाठी ही लिए हुए उसके पास गया, और मिस्री के हाथ से भाले को छीनकर उसी के भाले से उसे घात किया। 24. ऐसे ऐसे काम करके यहोयादा का पुत्रा बनायाह उन तीनों वीरों मे नामी हो गया। 25. वह तो तीसों से अधिक प्रतिष्ठित था, परन्तु मुख्य तीनों के पद को न पहुंचा। उसको दाऊद ने अपनी निज सभा में सभासद किया। 26. फिर दलों के वीर ये थे, अर्थात् योआब का भाई असाहेल, बेतलेहेमी दोदो का पुत्रा एल्हानान। 27. हरोरी शम्मोत, पलोनी हेलेस। 28. तकोई इक्केश का पुत्रा ईरा, अनातोती अबीएजेर। 29. सिब्बके होसाती, अहोही ईलै। 30. महरै नतोपाई, एक और नतोपाई बाना का पुत्रा हेलेद। 31. बिन्यामीनियों के गिबा नगरवासी रीबै का पुत्रा इतै, पिरातोनी बनायाह। 32. गाशके नालों के पास रहनेवाला हूरै, अराबावासी अबीएल। 33. बहूरीमी अजमावेत, शल्बोनी एल्यहबा। 34. गीजोई हाशेम के पुत्रा, फिर हरारी शागे का पुत्रा योनातान। 35. हरारी सकार का पुत्रा अहीआम, ऊर का पुत्रा एलीपाल। 36. मकेराई हेपेर, पलोनी अहिरयाह। 37. कर्मेली हेस्रो, एज्बै का पुत्रा नारै। 38. नातान का भाई योएल, हग्री का पुत्रा मिभार। 39. मम्मोनी सेलेक, बेरोती नहरै जो सरूयाह के पुत्रा योआब का हथियार ढोनेवाला था। 40. येतेरी ईरा और गारेब। 41. हित्ती ऊरिरयाह, अहलै का पुत्रा जाबाद। 42. तीस पुरूषों समेत रूबेनी शीजा का पुत्रा अदीना जो रूबेनियों का मुखिया था। 43. माका का पुत्रा हानान, मेतेनी योशापात। 44. अशतारोती उज्जिरयाह, अरोएरी होताम के पुत्रा शामा और यीएल। 45. शिम्री का पुत्रा यदीएल और उसका भाई तीसी, योहा। 46. महवीमी एलीएल, एलनाम के पुत्रा यरीबै और योशरयाह, 47. मोआबी यित्मा, एलीएल, ओबेद और मसोबाई यासीएल।
1. तब सब इस्राएली दाऊद के पास हेब्रोन में इकट्ठे होकर कहने लगे, सुन, हम लोग और तू एक ही हड्डी और मांस हैं। .::. 2. अगले दिनों में जब शाऊल राजा था, तब भी इस्राएलियों का अगुआ तू ही था, और तेरे परमेश्वर यहोवा ने तुझ से कहा, कि मेरी प्रजा इस्राएल का चरवाहा, और मेरी प्रजा इस्राएल का प्रधान, तू ही होगा। .::. 3. इसलिये सब इस्राएली पुरनिये हेब्रोन में राजा के पास अए, और दाऊद ने उनके साथ हेब्रोन में यहोवा के साम्हने वाचा बान्धी; और उन्हों ने यहोवा के वचन के अनुसार, जो उस ने शमूएल से कहा था, इस्राएल का राजा होने के लिये दाऊद का अभिषेक किया। .::. 4. तब सब इस्राएलियों समेत दाऊद यरूशलेम गया, जो यबूस भी कहलाता था, और वहां यबूसी नाम उस देश के निवासी रहते थे। .::. 5. तब यबूस के निवासियों ने दाऊद से कहा, तू यहां आने नहीं पाएगा। तौभी दाऊद ने सिरयोन नाम गढ़ को ले लिया, वही दाऊदपुर भी कहलाता है। .::. 6. और दाऊद ने कहा, जो कोई यबूसियों को सब से पहिले मारेगा, वह मुख्य सेनापति होगा, तब सरूयाह का पुत्रा योआब सब से पहिले चढ़ गया, और सेनापति बन गया। .::. 7. और दाऊद उस गढ़ में रहने लगा, इसलिये उसका नाम दाऊदपुर पड़ा। .::. 8. और उस ने नगर के चारों ओर, अर्थात् मिल्लो से लेकर चारों ओर शहरपनाश् बनवाई, और योआब ने शेष नगर के खष्डहरों को फिर बसाया। .::. 9. और दाऊद की प्रतिष्ठा अधिक बढ़ती गई और सेनाओं का यहोवा उसके संग था। .::. 10. यहोवा ने इस्राएल के विष्य जो वचन कहा था, उसके अनुसार दाऊद के जिन शूरवीरों ने सब इस्राएलियों समेत उसके राज्य में उसके पक्ष में होकर, उसे राजा बनाने को ज़ोर दिया, उन में से मुख्य पुरूष ये हैं। .::. 11. दाऊद के शूरवीरों की नामावली यह है, अर्थात् किसी हक्मोनी का पुत्रा याशोबाम जो तीसों में मुखय थ, उस ने तीन सै पुरूषों पर भाला चला कर, उन्हें एक ही समय में मार डाला। .::. 12. उसके बाद अहोही दोदो का पुत्रा एलीआज़र जो तीनों महान वीरों में से एक था। .::. 13. वह पसदम्मीम में जहां जव का एक खेत था, दाऊद के संग रहा जब पलिश्ती वहां युठ्ठ करने को इट्ठे हुए थे, और लोग पलिश्तियों के साम्हने से भाग गए। .::. 14. तब उन्हों ने उस खेत के बीच में खड़े होकर उसकी रक्षा की, और पलिश्तियों को मारा, और यहोवा ने उनका बड़ा उठ्ठार किया। .::. 15. और तीसों मुख्य पुरूषों में से तीन दाऊद के पास चट्टान को, अर्थात् अदुल्लाम नाम गुफा में गए, और पलिश्तियों की छावन रपाईम नाम तराई में पड़ी इई थी। .::. 16. उस समय दाऊद गढ़ में था, और उस समय पलिश्तियों की एक चौकी बेतलेहेम में थी। .::. 17. तब दाऊद ने बड़ी अभिलाषा के साथ कहा, कौन मुझे बेतलेहेम के फाटक के पास के कुएं का पानी पिलाएगा। .::. 18. तब वे तीनों जन पलिश्तियों की छावनी में टूट पड़े और बेतलेहेम के फाटक के कुएं से पानी भरकर दाऊद के पास ले आए; परन्तु दाऊद ने पीने से इनकार किया और यहोवा के साम्हने अर्ध करके उण्डेला। .::. 19. और उस ने कहा, मेरा परमेश्वर मुझ से ऐसा करना दूर रखे; क्या मैं इन मनुष्यों का लोहू पीऊं जिन्हों ने अपने प्राणों पर खेला है? ये तो अपने प्राण पर खेलकर उसे ले आए हैं। इसलिये उस ने वह पानी पीने से इनकार किया। इन तीन वीरों ने ये ही काम किए। .::. 20. और अबीशै जो योआब का भाई था, वह तीनों में मुख्य था। और उस ने अपना भाला चलाकर तीन सौ को मार डाला और तीनों में नामी हो गया। .::. 21. दूसरी श्रेणी के तीनों में वह अधिक प्रतिष्ठित था, और उनका प्रधान हो गया, परन्तु मुख्य तीनों का पद को न पहुंचा। .::. 22. यहोयादा का पुत्रा बनायाह था, जो कबजेल के एक वीर का पुत्रा था, जिस ने बड़े बड़े काम किए थे, उस ने सिंह समान दो मोआबियों को मार डाला, और हिमऋतु में उस ने एक गड़हे में उतर के एक सिंह को मार डाला। .::. 23. फिर उस ने एक डीलवाले अर्थात् पांच हाथ लम्बे मिस्री पुरूष को मार डाला, वह मिस्री हाथ में जुलाहों का ढेका का एक भाला लिए हुए था, परन्तु बनायाह एक लाठी ही लिए हुए उसके पास गया, और मिस्री के हाथ से भाले को छीनकर उसी के भाले से उसे घात किया। .::. 24. ऐसे ऐसे काम करके यहोयादा का पुत्रा बनायाह उन तीनों वीरों मे नामी हो गया। .::. 25. वह तो तीसों से अधिक प्रतिष्ठित था, परन्तु मुख्य तीनों के पद को न पहुंचा। उसको दाऊद ने अपनी निज सभा में सभासद किया। .::. 26. फिर दलों के वीर ये थे, अर्थात् योआब का भाई असाहेल, बेतलेहेमी दोदो का पुत्रा एल्हानान। .::. 27. हरोरी शम्मोत, पलोनी हेलेस। .::. 28. तकोई इक्केश का पुत्रा ईरा, अनातोती अबीएजेर। .::. 29. सिब्बके होसाती, अहोही ईलै। .::. 30. महरै नतोपाई, एक और नतोपाई बाना का पुत्रा हेलेद। .::. 31. बिन्यामीनियों के गिबा नगरवासी रीबै का पुत्रा इतै, पिरातोनी बनायाह। .::. 32. गाशके नालों के पास रहनेवाला हूरै, अराबावासी अबीएल। .::. 33. बहूरीमी अजमावेत, शल्बोनी एल्यहबा। .::. 34. गीजोई हाशेम के पुत्रा, फिर हरारी शागे का पुत्रा योनातान। .::. 35. हरारी सकार का पुत्रा अहीआम, ऊर का पुत्रा एलीपाल। .::. 36. मकेराई हेपेर, पलोनी अहिरयाह। .::. 37. कर्मेली हेस्रो, एज्बै का पुत्रा नारै। .::. 38. नातान का भाई योएल, हग्री का पुत्रा मिभार। .::. 39. मम्मोनी सेलेक, बेरोती नहरै जो सरूयाह के पुत्रा योआब का हथियार ढोनेवाला था। .::. 40. येतेरी ईरा और गारेब। .::. 41. हित्ती ऊरिरयाह, अहलै का पुत्रा जाबाद। .::. 42. तीस पुरूषों समेत रूबेनी शीजा का पुत्रा अदीना जो रूबेनियों का मुखिया था। .::. 43. माका का पुत्रा हानान, मेतेनी योशापात। .::. 44. अशतारोती उज्जिरयाह, अरोएरी होताम के पुत्रा शामा और यीएल। .::. 45. शिम्री का पुत्रा यदीएल और उसका भाई तीसी, योहा। .::. 46. महवीमी एलीएल, एलनाम के पुत्रा यरीबै और योशरयाह, .::. 47. मोआबी यित्मा, एलीएल, ओबेद और मसोबाई यासीएल। .::.
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