भजन संहिता 145 : 1 (IRVHI)
{परमेश्‍वर की महिमा और प्रेम का गीत } दाऊद का भजन हे मेरे परमेश्‍वर, हे राजा, मैं तुझे सराहूँगा, और तेरे नाम को सदा सर्वदा धन्य कहता रहूँगा।

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