1. {न्याय के लिए परमेश्वर का धन्यवाद } [QS][PS]*प्रधान बजानेवाले के लिये : अलतशहेत राग में आसाप का भजन । गीत । *[PE][PBR]हे परमेश्वर हम तेरा धन्यवाद करते, हम तेरा नाम धन्यवाद करते हैं; [QE][QS]क्योंकि तेरे नाम प्रगट हुआ है*, तेरे आश्चर्यकर्मों का वर्णन हो रहा है। [QE]
2. [QS]जब ठीक समय आएगा [QE][QS]तब मैं आप ही ठीक-ठीक न्याय करूँगा। [QE]
3. [QS]जब पृथ्वी अपने सब रहनेवालों समेत डोल रही है, [QE][QS]तब मैं ही उसके खम्भों को स्थिर करता हूँ। (सेला) [QE]
4. [QS]मैंने घमण्डियों से कहा, “घमण्ड मत करो,” [QE][QS]और दुष्टों से, “सींग ऊँचा मत करो; [QE]
5. [QS]अपना सींग बहुत ऊँचा मत करो, [QE][QS]न सिर उठाकर ढिठाई की बात बोलो।” [QE]
6. [QS]क्योंकि बढ़ती न तो पूरब से न पश्चिम से, [QE][QS]और न जंगल की ओर से आती है; [QE]
7. [QS]परन्तु परमेश्वर ही न्यायी है, [QE][QS]वह एक को घटाता और दूसरे को बढ़ाता है। [QE]
8. [QS]यहोवा के हाथ में एक कटोरा है, जिसमें का दाखमधु झागवाला है; [QE][QS]उसमें मसाला मिला है*, और वह उसमें से उण्डेलता है, [QE][QS]निश्चय उसकी तलछट तक पृथ्वी के सब दुष्ट लोग पी जाएँगे। (यिर्म. 25:15, प्रका. 14:10, प्रका. 16:19) [QE]
9. [QS]परन्तु मैं तो सदा प्रचार करता रहूँगा, [QE][QS]मैं याकूब के परमेश्वर का भजन गाऊँगा। [QE]
10. [QS]दुष्टों के सब सींगों को मैं काट डालूँगा, [QE][QS]परन्तु धर्मी के सींग ऊँचे किए जाएँगे। [QE]