पवित्र बाइबिल

भगवान का अनुग्रह उपहार
भजन संहिता
1. [QS]याहवेह, मैं आपको पुकार रहा हूं, मेरे पास शीघ्र ही आइए; [QE][QS2]जब मैं आपको पुकारूं, मेरी पुकार पर ध्यान दीजिए. [QE]
2. [QS]आपके सामने मेरी प्रार्थना सुगंधधूप; [QE][QS2]तथा मेरे हाथ उठाना, सान्ध्य बलि समर्पण जैसा हो जाए. [QE][PBR]
3. [QS]याहवेह, मेरे मुख पर पहरा बैठा दीजिए; [QE][QS2]मेरे होंठों के द्वार की चौकसी कीजिए. [QE]
4. [QS]मेरे हृदय को किसी भी अनाचार की ओर जाने न दीजिए, [QE][QS2]मुझे कुकृत्यों में शामिल होने से रोक लीजिए, [QE][QS]मुझे दुष्टों की संगति से बचाइए; [QE][QS2]मुझे उनके उत्कृष्ट भोजन को चखने से बचाइए. [QE][PBR]
5. [QS]कोई नीतिमान पुरुष मुझे ताड़ना करे, मैं इसे कृपा के रूप में स्वीकार करूंगा; [QE][QS2]वह मुझे डांट लगाए, यह मेरे सिर के अभ्यंजन तुल्य है. [QE][QS]इसे अस्वीकार करना मेरे लिए उपयुक्त नहीं, [QE][QS2]फिर भी मैं निरंतर दुष्टों की बुराई के कार्यों के विरुद्ध प्रार्थना करता रहूंगा. [QE][PBR]
6. [QS]जब उनके प्रधानों को ऊंची चट्टान से नीचे फेंक दिया जाएगा तब उन्हें मेरे इस वक्तव्य पर स्मरण आएगा कि वह व्यर्थ न था, [QE][QS2]कि यह कितना सांत्वनापूर्ण एवं सुखदाई वक्तव्य है: [QE]
7. [QS]“जैसे हल चलाने के बाद भूमि टूटकर बिखर जाती है, [QE][QS2]वैसे ही हमारी हड्डियों को टूटे अधोलोक के मुख पर बिखरा दिया जाएगा.” [QE][PBR]
8. [QS]मेरे प्रभु, मेरे याहवेह, मेरी दृष्टि आप ही पर लगी हुई है; [QE][QS2]आप ही मेरा आश्रय हैं, मुझे असुरक्षित न छोड़िएगा. [QE]
9. [QS]मुझे उन फन्दों से सुरक्षा प्रदान कीजिए, जो उन्होंने मेरे लिए बिछाए हैं, [QE][QS2]उन फन्दों से, जो दुष्टों द्वारा मेरे लिए तैयार किए गए हैं. [QE]
10. [QS]दुर्जन अपने ही जाल में फंस जाएं, [QE][QS2]और मैं सुरक्षित पार निकल जाऊं. [QE]
Total 150 अध्याय, Selected अध्याय 141 / 150
1 याहवेह, मैं आपको पुकार रहा हूं, मेरे पास शीघ्र ही आइए; जब मैं आपको पुकारूं, मेरी पुकार पर ध्यान दीजिए. 2 आपके सामने मेरी प्रार्थना सुगंधधूप; तथा मेरे हाथ उठाना, सान्ध्य बलि समर्पण जैसा हो जाए. 3 याहवेह, मेरे मुख पर पहरा बैठा दीजिए; मेरे होंठों के द्वार की चौकसी कीजिए. 4 मेरे हृदय को किसी भी अनाचार की ओर जाने न दीजिए, मुझे कुकृत्यों में शामिल होने से रोक लीजिए, मुझे दुष्टों की संगति से बचाइए; मुझे उनके उत्कृष्ट भोजन को चखने से बचाइए. 5 कोई नीतिमान पुरुष मुझे ताड़ना करे, मैं इसे कृपा के रूप में स्वीकार करूंगा; वह मुझे डांट लगाए, यह मेरे सिर के अभ्यंजन तुल्य है. इसे अस्वीकार करना मेरे लिए उपयुक्त नहीं, फिर भी मैं निरंतर दुष्टों की बुराई के कार्यों के विरुद्ध प्रार्थना करता रहूंगा. 6 जब उनके प्रधानों को ऊंची चट्टान से नीचे फेंक दिया जाएगा तब उन्हें मेरे इस वक्तव्य पर स्मरण आएगा कि वह व्यर्थ न था, कि यह कितना सांत्वनापूर्ण एवं सुखदाई वक्तव्य है: 7 “जैसे हल चलाने के बाद भूमि टूटकर बिखर जाती है, वैसे ही हमारी हड्डियों को टूटे अधोलोक के मुख पर बिखरा दिया जाएगा.” 8 मेरे प्रभु, मेरे याहवेह, मेरी दृष्टि आप ही पर लगी हुई है; आप ही मेरा आश्रय हैं, मुझे असुरक्षित न छोड़िएगा. 9 मुझे उन फन्दों से सुरक्षा प्रदान कीजिए, जो उन्होंने मेरे लिए बिछाए हैं, उन फन्दों से, जो दुष्टों द्वारा मेरे लिए तैयार किए गए हैं. 10 दुर्जन अपने ही जाल में फंस जाएं, और मैं सुरक्षित पार निकल जाऊं.
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