HOV
26. धर्मी अपने पड़ोसी की अगुवाई करता है, परन्तु दुष्ट लोग अपनी ही चाल के कारण भटक जाते हैं।
ERVHI
26. धर्मी मनुष्य मित्रता में सतर्क रहता है, किन्तु दुष्टों की चाल उन्हीं को भटकाती है।
IRVHI
26. धर्मी अपने पड़ोसी की अगुआई करता है, परन्तु दुष्ट लोग अपनी ही चाल के कारण भटक जाते हैं।
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